हादसे के बाद भारतीय विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो की शुरुआती जांच रिपोर्ट में कॉकपिट में पायलट की बातचीत सामने आई हैं। एक पायलट दूसरे से पूछ रहा है कि आपे आपने फ्यूल बंद क्यों किया है दूसरे ने जवाब दिया है कि मैंने ऐसा नहीं किया।
नई दिल्ली :- 12 जून को अहमदाबाद से लंदन के लिए उड़ान भरने वाले एयर इंडिया के विमान (AI171) की दुर्घटना पर भारतीय विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो ने अपनी प्रारंभिक रिपोर्ट जारी कर दी है। इस रिपोर्ट में सामने आए तथ्यों ने न सिर्फ तकनीकी प्रणाली पर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि कॉकपिट के अंदर हुई बातचीत ने भी कई रहस्यों से पर्दा हटाया है।
टेकऑफ के कुछ ही सेकंड में बंद हो गए दोनों इंजन
जांच में यह सामने आया कि उड़ान भरते ही दोनों इंजन लगभग एक साथ फेल हो गए। फ्यूल सप्लाई के लिए जिम्मेदार स्विच अचानक ‘RUN’ से ‘CUTOFF’ मोड में चले गए, जिससे इंजन में पावर सप्लाई रुक गई और विमान अपनी रफ्तार खो बैठा।
🎧 पायलटों के बीच की बातचीत से बढ़ी चिंता
हादसे से कुछ ही क्षण पहले कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर में दर्ज बातचीत बेहद अहम मानी जा रही है। एक पायलट ने दूसरे से पूछा, “क्या आपने फ्यूल बंद किया?” जवाब में उसे सुनने को मिला, “मैंने ऐसा कुछ नहीं किया।” यह संवाद तकनीकी गड़बड़ी से अधिक, संवादहीनता या कॉकपिट भ्रम की ओर इशारा करता है।
RAT सिस्टम की सक्रियता – संकेत था आपात स्थिति का
जैसे ही दोनों इंजन बंद हुए, विमान का इमरजेंसी पावर सप्लाई सिस्टम अपने आप एक्टिवेट हो गया। यह प्रणाली केवल तभी काम करती है जब विमान की मुख्य ऊर्जा प्रणाली फेल हो चुकी हो। इससे साफ है कि दोनों इंजन एक साथ पूरी तरह बंद हो चुके थे।
260 लोगों की जान गई, बड़ा मानवीय नुकसान
यह दुर्घटना बेहद भयावह साबित हुई। हादसे में 241 यात्री और क्रू मेंबर्स सहित कुल 260 लोग जान गंवा बैठे, जिनमें से 19 लोग जमीन पर मेडिकल कॉलेज हॉस्टल में मौजूद थे। विमान वहीं पर जाकर गिरा था।
अब भी कई सवाल बाकी हैं…
क्या फ्यूल कटऑफ किसी सॉफ्टवेयर ग्लिच की वजह से हुआ?
क्या कोई ऑटोमैटिक सिस्टम फेल हुआ या इंसानी गलती?
क्या विमान में सुरक्षा के लिए मौजूद इंटरलॉक फीचर काम नहीं कर पाया?
AAIB की रिपोर्ट आगे और होगी विस्तृत
फिलहाल ये रिपोर्ट शुरुआती स्तर की है और AAIB आगामी हफ्तों में और गहराई से जांच करेगी। ब्लैक बॉक्स डाटा, फ्लाइट रिकॉर्डर की विस्तृत जांच और मेंटेनेंस रिपोर्ट से और तथ्य सामने आने की उम्मीद है।