नई दिल्ली:– माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ने शनिवार को घोषणा की कि जम्मू-कश्मीर में लगातार हो रही भारी बारिश और यात्रा मार्ग पर भूस्खलन के खतरे के कारण माता वैष्णो देवी मंदिर की तीर्थयात्रा को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है. यह यात्रा पहले 26 अगस्त से 19 दिनों तक निलंबित रही थी, जब रियासी जिले में तीर्थयात्रा मार्ग पर एक बड़े भूस्खलन में 34 तीर्थयात्रियों की मौत हो गई थी और 20 अन्य घायल हो गए थे.
यात्रा 14 सितंबर से फिर से शुरू होनी थी, लेकिन खराब मौसम के कारण श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ने तीर्थयात्रियों की सुरक्षा को प्राथमिकता दी. सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर एक आधिकारिक बयान जारी कर श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ने कहा, ‘भवन और यात्रा मार्ग पर लगातार बारिश के कारण, 14 सितंबर से शुरू होने वाली यात्रा को अगले आदेश तक स्थगित कर दिया गया है. भक्तों से अनुरोध है कि वे आधिकारिक संचार माध्यमों के जरिए अपडेट रहें.’
मौसम ठीक होने पर फिर से शुरू होगी यात्रा
श्राइन बोर्ड ने यह भी स्पष्ट किया कि मौसम की स्थिति और मार्ग की सुरक्षा का आकलन करने के बाद ही यात्रा को फिर से शुरू करने का निर्णय लिया जाएगा. इससे पहले 26 अगस्त को रियासी जिले के त्रिकुटा पहाड़ियों में भारी बारिश के कारण हुए भूस्खलन ने तीर्थ मार्ग को तबाह कर दिया. इस हादसे में 34 श्रद्धालुओं की जान चली गई, जिनमें ज्यादातर उत्तर प्रदेश, राजस्थान और मध्य प्रदेश के तीर्थयात्री थे. हादसे के बाद प्रशासन ने तुरंत बचाव कार्य शुरू किए, लेकिन मार्ग पर मलबा और बारिश के कारण यात्रा को रोकना पड़ा.
श्राइन बोर्ड ने पिछले सप्ताह घोषणा की थी कि मार्ग की मरम्मत और सुरक्षा जांच पूरी होने के बाद 14 सितंबर से यात्रा फिर से शुरू होगी, लेकिन मौसम ने एक बार फिर व्यवधान डाला. रियासी जिला प्रशासन ने बताया कि भारी बारिश ने तीर्थ मार्ग के कई हिस्सों को प्रभावित किया है, खासकर भवन और हिमकोटि क्षेत्रों में. जम्मू-कश्मीर आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने चेतावनी जारी की है कि अगले कुछ दिनों तक भारी बारिश और भूस्खलन का खतरा बना रहेगा. प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे यात्रा की योजना बनाने से पहले मौसम और बोर्ड के अपडेट की जांच करें.
माता वैष्णो देवी मंदिर देश के प्रमुख तीर्थस्थलों में से एक है, जहां हर साल लाखों श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं. यात्रा के बार-बार स्थगित होने से भक्तों में निराशा है. जम्मू के स्थानीय निवासी और तीर्थयात्रा से जुड़े व्यवसायी रमेश कुमार ने कहा, ‘यहां के होटल, गेस्ट हाउस और दुकानें तीर्थयात्रियों पर निर्भर हैं. यात्रा बंद होने से हमारा व्यवसाय ठप हो गया है.’ कई श्रद्धालु, जो यात्रा के लिए जम्मू पहुंच चुके थे, अब अनिश्चितता के कारण वापस लौटने को मजबूर हैं. मौसम विभाग ने अगले 48 घंटों में जम्मू क्षेत्र में बारिश कम होने की संभावना जताई है.