मध्यप्रदेश:– क्या आपको भी लगातार एड़ियों में दर्द बना रहता है? एड़ी में होने वाला दर्द केवल ज्यादा चलना, खड़े रहना, हाई हिल्स पहनना या ठंड ही नहीं होता, बल्कि शरीर में कुछ विटामिन और मिनरल्स की कमी भी इस दर्द का एक बड़ा कारण हो सकती है. और यह बात अक्सर हम सभी नजरअंदाज कर देते हैं, जिसके चलते आगे जाकर ये समस्या और ज़्यादा बढ़ जाती है. पोषण संबंधी कमियां हड्डियों, मांसपेशियों और टिशूज़ की सेहत को प्रभावित कर सकती हैं. तो चलिए जानते हैं, कौन-कौन से विटामिन और मिनरल्स की कमी से एड़ी में दर्द हो सकता है और कैसे इस से बचा जाए.
विटामिन D की कमी
विटामिन D हड्डियों को मजबूत रखने और कैल्शियम के अवशोषण में मदद करता है.
कमी के लक्षण – हड्डियों और जोड़ों में दर्द, थकान, मांसपेशियों में कमजोरी.
एड़ी दर्द से संबंध – विटामिन D की कमी से एड़ी की हड्डी कमजोर हो सकती है, जिससे चलते समय या दबाव पड़ने पर दर्द हो सकता है.
कैल्शियम की कमी
हड्डियों की मजबूती के लिए कैल्शियम बहुत अधिक आवश्यक है.
मैग्नीशियम की कमी
मांसपेशियों की कार्यप्रणाली और नसों के लिए जरूरी.
कमी के लक्षण – मांसपेशियों में ऐंठन, कमजोरी, सुन्नपन.
एड़ी दर्द से संबंध – मैग्नीशियम की कमी से एड़ी की मांसपेशियों में खिंचाव या जकड़न हो सकती है.
विटामिन B12 की कमी
नर्व सिस्टम की सेहत के लिए जरूरी.
कमी के लक्षण – हाथ-पैर में झुनझुनी, सुन्नपन, कमजोरी.
एड़ी दर्द से संबंध – B12 की कमी से नसों पर असर पड़ता है, जिससे एड़ी में चुभन या जलन जैसी संवेदनाएं हो सकती हैं.
आयरन की कमी एनीमिया
शरीर में ऑक्सीजन पहुंचाने के लिए जरूरी.
कमी के लक्षण – थकान, कमजोरी, हाथ-पैर में दर्द या जलन.
एड़ी दर्द से संबंध – कमजोरी और थकान के साथ एड़ी की मांसपेशियों पर दबाव बढ़ता है, जिससे दर्द हो सकता है.
क्या करें?
एक ब्लड टेस्ट करवाएं जिससे इन विटामिन और मिनरल्स की स्थिति पता चल सके.
डॉक्टर से सलाह लेकर सप्लीमेंट्स या डाइट में बदलाव करें.
ऐसे खाद्य पदार्थ लें जिनमें ये पोषक तत्व प्रचुर मात्रा में हों.
विटामिन D के लिए – धूप, फोर्टिफाइड दूध, अंडे की ज़र्दी, मछली.
कैल्शियम के लिए – दूध, दही, पनीर, हरी पत्तेदार सब्जियाँ.
B12 के लिए – अंडा, मछली, मीट या सप्लीमेंट्स
मैग्नीशियम के लिए – केले, ड्राई फ्रूट्स, साबुत अनाज.
आयरन के लिए – पालक, गुड़, अनार, दालें.