कोरबा :- वरिष्ठ भाजपा आदिवासी नेता एवं पूर्व गृहमंत्री ननकीराम कंवर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय कोयला एवं खनन मंत्री जी.किशन रेड्डी, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय तथा संचालक खनिज संसाधन विभाग, छत्तीसगढ़ शासन को पत्र लिखकर कोरबा जिले के दर्री डेम से बालको परसाभाटा तक सड़क निर्माण की स्वीकृति को निरस्त करने की मांग की है। श्री कंवर ने आरोप लगाया है कि उक्त सड़क निर्माण की स्वीकृति जिला खनिज न्यास मद कोरबा से भ्रष्टाचार की नीयत से की गई है, जबकि इस मार्ग का प्रमुख उपयोग बालको कंपनी के परिवहन वाहनों द्वारा होता है। ऐसे में यह स्वीकृति बालको कंपनी को लाभ पहुंचाने एवं कमीशनखोरी को बढ़ावा देने वाला कृत्य प्रतीत होता है, जो कि पूर्णतः अनुचित है। पूर्व गृहमंत्री ने पत्र में उल्लेख किया है कि खनिज न्यास मद का उपयोग खनन प्रभावित क्षेत्रों में जनकल्याण के लिए होना चाहिए, न कि निजी कंपनियों की सुविधाओं के लिए। उन्होंने इस बात पर भी चिंता जताई कि कांग्रेस शासनकाल में भी ऐसे ही प्रयासों के चलते कई सड़क परियोजनाएं या तो वर्षों तक लंबित रहीं या फिर आज तक उनके टेंडर नहीं हो पाए।
श्री कंवर ने यह भी बताया कि पूर्व में रामपुर क्षेत्र के विधायक रहते हुए तथा कोरबा क्षेत्र के तत्कालीन विधायक जयसिंह अग्रवाल के प्रयासों से एसईसीएल कुसमुंडा से लगभग 300 करोड़ रुपये की राशि प्राप्त कर बरमपुर, कुसमुंडा और सर्वमंगला-दर्री मार्ग जैसी सड़कों का निर्माण स्वीकृत कराया गया था।उन्होंने जोर देते हुए कहा कि दर्री डेम से बालको परसाभाटा तक सड़क निर्माण का खर्च बालको कंपनी से ही लिया जाए और पूर्व की तरह कंपनी से आबंटन राशि प्राप्त कर निर्माण कराया जाए। पूर्व गृहमंत्री ननकीराम कंवर ने प्रधानमंत्री से आग्रह किया है कि इस परियोजना की स्वीकृति पर तत्काल रोक लगाई जाए तथा जिला खनिज न्यास मद की राशि के दुरुपयोग को रोका जाए। साथ ही बालको कंपनी से फंड लेकर ही सड़क निर्माण कराया जाए, ताकि पारदर्शिता बनी रहे और सार्वजनिक निधियों का दुरुपयोग न हो।