नई दिल्ली:- देश के करोड़ों कर्मचारी इस साल 8th Pay Commission का इंतज़ार कर रहे हैं और सरकार से उम्मीद लगाए बैठे है की सरकार इस पेय कमीशन को लागू करेगी जिससे कर्मचारियों को लाखों रूपए का फायदा होगा, कर्मचारियों की सैलरी में भी इज़ाफ़ा होगा पर अब कर्मचारियों की ये उम्मीद टूटी नज़र आ रही है क्योंकि हाल ही में केंद्र सरकार ने 8th Pay Commission के लागू करने या न करने को लेकर अपना रुख क्लियर कर दिया है। आईये नीचे जानते हैं सरकार का क्या है नया प्लान और किसी फॉर्मूले के हिसाब से सैलरी में होगा इजाफा.
लोकसभा चुनाव 2024 से पहले 8वें वेतन आयोगकी उम्मीद में बैठे सरकारी कर्मचारियों के लिए बड़ी खबर है। वित्त विभाग की ओर से अब साफ हो चुका है कि अब तक सरकार ने अब तक ऐसी कोई योजना नहीं बनाई है।
ऐसा कहा जा रहा है कि चुनावों के नजदीक आते ही वित्त मंत्रालय पर 8वां वेतन आयोग गठित करने और उसे अधिसूचित करने का राजनीतिक दबाव बढ़ रहा है।
आठवें वेतन आयोग लागू करने को लेकर वित्त सचिव ने फिलहाल की योजना से इनकार किया है। एक रिपोर्ट के अनुसार, सचिव टीवी सोमनाथन ने कहा, ‘8वां वेतन आयोग गठित करने के संबंध में फिलहाल कोई योजना नहीं है।
वित्त सचिव ने फिलहाल 8वें वेतन आयोग की योजना से इनकार किया है। सचिव टीवी सोमनाथन ने कहा, ‘8वां वेतन आयोग गठित करने के संबंध में फिलहाल कोई योजना नहीं है। अभी इसके बारे में कुछ तय नहीं है।’ आंकड़े बताते हैं कि केंद्रीय कर्मचारियों और पेशनधारकों की संख्या 50 लाख से ज्यादा है।
दरअसल, चुनाव आने से पहले सरकारें केंद्रीय कर्मचारियों, सशस्त्र बलों और पेंशनधारकों को लुभाने के लिए वेतन आयोग (8th Pay Commission big update) का इस्तेमाल करती रही हैं। कांग्रेस की अगुवाई वाली यूनाइटेड प्रोग्रेसिव एलायंस यानी UPA ने साल 2013 में आम चुनाव के कुछ महीनों पहले ही 7वां वेतन आयोग गठित किया था।
आठवें वेतन आयोग पर ससंद में दिया ये जवाब
इससे पहले वित्त राज्य मंत्री पकंज चौधरी ने भी संसद में कहा था कि फिलहाल आठवां वेतन आयोग गठित करने का कोई प्रस्ताव सरकार के विचाराधीन नहीं है। चौधरी लोकसभा में एक सवाल का जवाब दे रहे थे। उनसे पूछा गया था कि क्या सरकार के पास केंद्रीय कर्मचारियों के लिए आठवें केंद्रीय वेतन आयोग का प्रस्ताव विचाराधीन है ताकि इसे एक जनवरी 2026 से लागू किया जा सके। चौधरी ने इस दावे का खंडन किया कि आठवां केंद्रीय वेतन आयोग नहीं बनेगा। लेकिन सरकार की मंशा से साफ है कि वो आगे इस तरह का कोई आयोग गठित करने के पक्ष में नहीं है।
इस फॉर्मूले से होगी वेतन की समीक्षा
वित्त राज्यमंत्री पहले ही कह चुके हैं कि सातवें वेतन आयोग की सिफारिश के अनुसार केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स को दिए जाने वाले वेतन, भत्ते और पेंशन की समीक्षा के लिए एक और वेतन आयोग का गठन करने की आवश्यकता नहीं होनी चाहिए। लेकिन पे मैट्रिक्स की समीक्षा और संशोधन के लिए नई व्यवस्था पर काम होना चाहिए।
उन्होंने कहा कि सरकार ऐसी व्यवस्था पर काम कर रही है जिससे कर्मचारियों की सैलरी उनकी परफॉर्मेंस के आधार पर बढ़े। उन्होंने कहा Aykroyd फॉर्मूला के अनुसार सभी भत्तों और वेतन की समीक्षा की जा सकती है।
जानिये, क्या है Aykroyd फॉर्मूला
Aykroydफॉर्मूले से कर्मचारियों की सैलरी को महंगाई, कॉस्ट ऑफ लिविंग और कर्मचारी की परफॉर्मेंस से जोड़ा जाएगा। इन सब चीजों के आंकलन के बाद ही सैलरी में बढ़ौतरी होगी। इससे सभी वर्ग के कर्मचारियों को फायदा होगा।
सातवें वेतन आयोग की अपनी सिफारिश में जस्टिस माथुर ने कहा था कि हम पे स्ट्रक्चर को Aykroyd फॉर्मूले के तहत तय करना चाहते हैं। इसमें कॉस्ट ऑफ लिविंग को भी ध्यान में रखा जाता है। ये फॉर्मूला वॉलेस रुडेल आयकरॉयड ने दिया था। उनका मानना था कि आम आदमी के लिए 2 अहम चीजें हैं, भोजन और कपड़ा। इनकी कीमतों के बढ़ने के साथ ही कर्मचारियों की सैलरी में भी इजाफा किया जाना चाहिए।
सरकारी कर्मचारियों को दूसरी तरफ सबसे अच्छी खबर फिटमेंट फैक्टर पर मिल सकती है. पहले बात महंगाई भत्ते पर करते हैं. AICPI इंडेक्स के अब तक आ चुके आंकड़ों से इशारा मिल रहा है कि अगली बार भी 4-5 फीसदी की तेजी देखने को मिल सकती है. इससे हाई सैलरी ब्रैकेट वाले कर्मचारियों को 20 हजार रुपए से ज्यादा का इजाफा होगा. अगर ऐसा होता है तो इसका फायदा देश के 1 करोड़ कर्मचयारियों को होगा
46 फीसदी महंगाई भत्ता और महंगाई राहत मिलने के बाद केंद्र की मोदी सरकार साल 2024 में केंद्रीय कर्मचारियों का महंगाई भत्ता 4-5 फीसदी बढ़ा सकती है. हाल ही में AICPI इंडेक्स सितंबर तक के आंकड़े जारी हुए हैं देख अजय तो अब तक महंगाई भत्ता 2.50 फीसदी बढ़ चुका है. फिलहाल डीए स्कोर 48.54 फीसदी पर है और अगर सरकार इस बार भी DA 3 प्रतिशत तक बढ़ाती है तो महंगाई भत्ता 51 फीसदी पहुंच सकता है.
8000 रुपए बढ़ जाएगी न्यूनतम सैलरी
फिटमैंट फैक्टर में भी इजाफा होने की चर्चाएं हैं. अगर ऐसा हुआ केंद्र सरकार के कर्मचारियों की सैलरी में बड़ा उछाल देखने को मिलेगा. 7th Pay Commission के तहत फिटमेंट फैक्टर में इजाफे से केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में 8,860 रुपए का इजाफा होगा. फिटमेंट फैक्टर फिलहाल 2.57 है. अगर इसे बढ़ाकर 3.68 किया जाता है तो लेवल-1 के ग्रेड-पे की न्यूनतम सीमा 26,000 रुपए पहुंच जाएगी. मतलब सीधे तौर पर सैलरी में 8000 रुपए का इजाफा होगा.
49,420 रुपए बढ़ जाएगी सैलरी
मान लीजिये केंद्रीय कर्मचारी की बेसिक सैलरी 18,000 रुपए है, तो भत्तों को छोड़कर फिटमेंट फैक्टर के हिसाब से सैलरी की कैलकुलेशन 18,000 X 2.57= 46,260 रुपए होगी. अगर इसी को 3.68 मान लिया जाए तो सैलरी 26,000X3.68= 95,680 रुपए होगी. मतलब कर्मचारियों की सैलरी में कुल अंतर 49,420 रुपए का होगा. ये कैलकुलेशन न्यूनतम बेसिक सैलरी वालों के लिए किया गया है , जिन कर्मचारियों की सैलरी इससे भी ज्यादा है तो उन्हें और भी ज्यादा फायदा मिलेगा ।|