मध्यप्रदेश:– त्योहारों की रौनक के बीच सोना निवेशकों को एक बार फिर सोचने पर मजबूर कर रहा है. इस बार बात केवल चमक की नहीं, बल्कि रिकॉर्ड तोड़ कीमतों की है. जानकारों का कहना है कि 2025 की धनतेरस पर गोल्ड ₹1,30,000 प्रति 10 ग्राम तक पहुंच सकता है, और यह बढ़त बस शुरुआत हो सकती है.
गोल्ड की रैली: 2025 में 50% से अधिक की छलांग
MCX पर दिसंबर डिलीवरी वाले कॉन्ट्रैक्ट की बात करें तो बीते सप्ताह गोल्ड ₹1,22,284 प्रति 10 ग्राम तक पहुंच चुका है. अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोना $4,060 प्रति औंस के करीब दिखा, जो एक नया रिकॉर्ड स्तर है.
विशेषज्ञ मानते हैं कि इस उछाल के पीछे सिर्फ एक नहीं, बल्कि कई अंतरराष्ट्रीय और घरेलू फैक्टर हैं.
वैश्विक वजहें
ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदें
अमेरिकी डॉलर में कमजोरी
भूराजनीतिक तनाव जैसे मिडिल ईस्ट, यूक्रेन, चीन-ताइवान
केंद्रीय बैंकों की रिकॉर्ड स्तर पर खरीदारी
घरेलू फैक्टर्स (Gold Price Forecast)
शादी और त्योहारों का सीज़न
कमजोर रुपया
उच्च आयात शुल्क
मौसमी मांग
क्यों डॉलर की कमजोरी सोने के लिए वरदान बनी?
अमेरिकी डॉलर के कमजोर पड़ने से अन्य करेंसी वाले निवेशकों के लिए गोल्ड खरीदना सस्ता हो गया है. इससे वैश्विक मांग को जबरदस्त बढ़ावा मिला है.
रेलिगेयर ब्रोकिंग के रिसर्च हेड अजीत मिश्रा कहते हैं, “वैश्विक अनिश्चितता और फेड की दर कटौती की संभावनाओं ने सोने को निवेश का सुरक्षित ठिकाना बना दिया है.”
केंद्रीय बैंकों का रुख: खरीदारी में ऐतिहासिक तेजी
कई देशों के केंद्रीय बैंक लगातार सोना खरीद रहे हैं ताकि डॉलर पर निर्भरता घटाई जा सके और रिज़र्व में विविधता लाई जा सके. यह खरीदारी कई दशकों के उच्चतम स्तर पर है.
एसएमसी ग्लोबल की वंदना भारती बताती हैं, “फिएट करेंसी पर घटते भरोसे और केंद्रीय बैंकों की आक्रामक खरीद ने कीमतों को नीचे आने ही नहीं दिया.”
धनतेरस 2025 पर कहां पहुंचेगा सोना?
संभावित रेंज: ₹1,20,000 से ₹1,30,000 प्रति 10 ग्राम
अंतरराष्ट्रीय कीमत अनुमान: $4,150–$4,250 प्रति औंस
लेकिन ₹1.5 लाख के आंकड़े को लेकर विशेषज्ञ इस साल सतर्क हैं.
एक्सपर्ट्स के मुताबिक, “जब तक कोई बड़ा आर्थिक या जियोपॉलिटिकल झटका न आए, ₹1.5 लाख का आंकड़ा अभी दूर है.”
क्या 2026 में दिखेगा ₹1.5 लाख का गोल्ड?
बिलकुल संभव है, अगर ये शर्तें बनी रहती हैं:
वैश्विक ब्याज दरों में गिरावट
कमजोर वैश्विक ग्रोथ
मजबूत सेंट्रल बैंक डिमांड
डॉलर और अन्य करेंसीज़ में कमजोरी
विशेषज्ञों का मानना है कि अगर यही ट्रेंड जारी रहा, तो 2026 के मध्य से पहले ₹1.5 लाख प्रति 10 ग्राम का स्तर पार हो सकता है.
गोल्ड ETF में निवेशक लौटे, आंकड़े चौंकाने वाले
सितंबर 2025 में भारतीय गोल्ड ETF में $902 मिलियन का निवेश हुआ
अगस्त की तुलना में 285% की वृद्धि दर्ज की गई
पूरे भारत में गोल्ड ETF का AUM 90,000 करोड़ रुपये से ऊपर पहुंच गया है.
निवेश करें या रुकें?
अगर आप शॉर्ट टर्म गेन की उम्मीद में हैं, तो थोड़ा सतर्क रहें, ₹1.3 लाख पर रिट्रेसमेंट आ सकता है.
लेकिन लॉन्ग टर्म नजरिए से देखें तो मौजूदा तेजी 2026 तक जारी रह सकती है, जिससे गोल्ड निवेश एक रणनीतिक विकल्प बन सकता है।