नई दिल्लीः राजस्थान में अब जल्द ही विधानसभा चुनाव की घोषणा होने वाली है, जिसकी तैयारी रानीतिक और प्रशासनिक स्तर पर तेजी से की जा रही है। चुनाव आयोग किसी भी दिन अब राज्य में आचार संहिता लागू कर सकता है, जिससे पहले समीक्षा की जा रही है। चुनाव आयोग हर उस पहलू पर काम कर रहा है, जिससे मतदान प्रतिशत को बढ़ाया जा सके। इ
मुख्य चुनाव आयुक्त ने कही बड़ी बातराजस्थान विधानसभा चुनाव से पहले मुख्य आयुक्त ने समीक्षा के बाद बड़ी बातें कहीं है। चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने कहा कि आयोग के समक्ष लोगों के लिए मतदान अनिवार्य कराने को लेकर कोई ऐसा प्रस्ताव नहीं है। इसके साथ ही आगे कहा कि चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों को अखबार के विज्ञापनों के माध्यम से अपने आपराधिक रिकॉर्ड की जानकारी सार्वजनिक करनी होगी।राजनीतिक पार्टियों को उम्मीदवार चुनने के अपने कारण भी बताने की जरूरत होगी। उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनाव में पहली बार बुजुर्ग मतदाताओं और 40 प्रतिशत या अधिक दिव्यांगता वाले लोगों के लिए घर से वोटिंग की व्यवस्था की जाएगी।
राज्य में इतने मतदाताओं की उम्र शतक पारचुनाव आयोग की रिपोर्ट के मुताबिक राजस्थान में करीब 18 हजार मतदाता ऐसे हैं, जिनकी उम्र 100 साल से अधिक है। राजस्थान में मुख्य चुनाव आयुक्त के अनुसार, राज्य के सभी मतदाताओं से अनुरोध को सभी लोग अपने मत का प्रयोग करें।चुनाव आयुक्त ने आगे कहा कि बीते 2 दिनों में हम सभी राजनितिक पार्टियों और एजेंसियों से मिल सके हैं। उन्होंने मांग की है कि अगर कोई एफिडेविट गलत फाइल करे तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई हो।