बिहार :– चुनावी रण में घमासान तेज हो गया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को अरवल में एक चुनावी रैली में कांग्रेस सांसद राहुल गांधी पर अब तक का सबसे तीखा हमला बोला है। शाह ने राहुल गांधी की ‘वोट चोरी’ की शिकायतों पर पलटवार करते हुए उन्हें ‘घुसपैठियों’ से जोड़ दिया। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि राहुल गांधी चाहें तो ‘बिहार से लेकर इटली तक’ यात्रा निकाल लें, लेकिन केंद्र सरकार अपने कदम पीछे नहीं हटाएगी।
अमित शाह ने साफ कहा कि राहुल गांधी ‘वोट चोरी’ की बात इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि मतदाता सूची से ‘घुसपैठियों’ के नाम हटा दिए गए हैं। उन्होंने राहुल की ‘वोट अधिकार यात्रा’ को ‘घुसपैठिया बचाओ यात्रा’ करार दिया। शाह ने पूछा कि राहुल ने यह यात्रा किसके लिए निकाली? क्या बिहार की माताओं, गरीबों या युवाओं के लिए? उन्होंने कहा कि नहीं, यह यात्रा घुसपैठियों को बचाने के लिए निकाली गई है, क्योंकि वे कांग्रेस के लिए वोटबैंक हैं।
चुन-चुनकर बाहर निकालेंगे’
गृह मंत्री ने अरवल की जनसभा में वादा किया कि राहुल गांधी चाहे जितनी यात्राएं निकाल लें, लेकिन वे घुसपैठियों को बचा नहीं पाएंगे। उन्होंने कहा, ‘हम देश और बिहार से एक-एक घुसपैठिए को चुन-चुनकर बाहर निकालने का काम करेंगे।’ इसके साथ ही शाह ने कांग्रेस पर बाबा साहेब अंबेडकर के नाम पर केवल वोट बटोरने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने बाबा साहेब का हमेशा विरोध किया, जबकि मोदी सरकार ने 14 अप्रैल को राष्ट्रीय समरसता दिवस और 26 नवंबर को संविधान दिवस घोषित कर उनका सम्मान किया। कांग्रेस के लिए बाबा साहेब का नाम सिर्फ श्रद्धा का केंद्र नहीं, बल्कि वोट बटोरने के लिए है।
ठगबंधन का हो जाएगा सफाया’
अमित शाह ने कांग्रेस-राजद के ‘महागठबंधन’ को ‘ठगबंधन’ करार देते हुए कहा कि बिहार चुनावों के बाद इसका सफाया हो जाएगा। उन्होंने कहा, ‘मैं बिहार में 38 जगहों पर घूमा हूं, हर जगह एक ही मूड है कि 14 तारीख को ठगबंधन का सफाया होने वाला है।’ उन्होंने दावा किया कि पहले चरण के चुनाव में ही लालू की पार्टी का सूपड़ा साफ हो गया है। शाह ने लोगों को आगाह किया कि जरा सी भी गलती हुई तो ‘जंगलराज’ फिर लौट आएगा। उन्होंने कहा कि एक जमाने में बिहार नक्सलवाद से ग्रस्त था, लेकिन पीएम मोदी और नीतीश कुमार ने यहां से जंगलराज और नरसंहार को खत्म कर दिया है।
