)नशा एक वैश्विक समस्या है. नशे से निपटने के लिए दुनियाभर के अधिकांश देशों में कई संस्थान काम कर रहे हैं.लेकिन क्या आप जानते हैं कि शराब जैसा नशा करने के लिए कई तरह की दवाओं का इस्तेमाल किया जाता है.दुनियाभर में शराब जैसे नशे को लीगल लाइसेंस के साथ बेचा जाता है. लेकिन वहीं बहुत सारे ऐसे नशे भी हैं, जिस पर सरकारों ने रोक लगा रखा है और इन नशों का सेवन करना कानूनी जुर्म है.
1/5नशा दुनियाभर की सरकारों के लिए वैश्विक समस्या बन चुका है. अधिकांश देशों में अवैध नशा तस्करी को रोकने के लिए टीमों का गठन भी किया गया है, लेकिन नशा हर दिन फैल रहा है.नशा दुनियाभर की सरकारों के लिए वैश्विक समस्या बन चुका है. अधिकांश देशों में अवैध नशा तस्करी को रोकने के लिए टीमों का गठन भी किया गया है, लेकिन नशा हर दिन फैल रहा है.
2/5आपने कई बार देखा होगा कि लोग पैसे के अभाव में नशा करने के लिए दवाओं और सिरफ का इस्तेमाल करते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि किन दवाओं से सबसे ज्याद नशा होता है.आपने कई बार देखा होगा कि लोग पैसे के अभाव में नशा करने के लिए दवाओं और सिरफ का इस्तेमाल करते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि किन दवाओं से सबसे ज्याद नशा होता है.
3/5भारत समेत कई देशों में एल्कोहल लाइसेंस के साथ बेचना लीगल है. लेकिन ये भी सच है कि शराब की बोतल काफी महंगी आती है.भारत समेत कई देशों में एल्कोहल लाइसेंस के साथ बेचना लीगल है. लेकिन ये भी सच है कि शराब की बोतल काफी महंगी आती है.
4/5शराब के महंगा होने की वजह से कई बार खासकर युवा दवाओं का इस्तेमाल करके नशा करना चाहते हैं. आपने देखा होगा कि कई दवाओं का सेवन करने से नशा जबरदस्त होता है.शराब के महंगा होने की वजह से कई बार खासकर युवा दवाओं का इस्तेमाल करके नशा करना चाहते हैं. आपने देखा होगा कि कई दवाओं का सेवन करने से नशा जबरदस्त होता है.
5/5कई राज्यों में शराबबंदी के कारण भी नशे के लिए दवाओं का इस्तेमाल बढ़ा है. एलप्रेक्स ट्राइका, एटीवान, लोराजीपाम, रिवोट्रील क्लोनाजीपाम दवाओं का उपयोग नशे के लिए किया जा रहा है. इन दवाओं को ज्यादातर नींद न आने या दर्द या फिर तनाव दूर करने के लिए मरीज को दिया जाता है.कई राज्यों में शराबबंदी के कारण भी नशे के लिए दवाओं का इस्तेमाल बढ़ा है. एलप्रेक्स ट्राइका, एटीवान, लोराजीपाम, रिवोट्रील क्लोनाजीपाम दवाओं का उपयोग नशे के लिए किया जा रहा है.